नई दिल्ली: आखिरकार बहुत हीं टालमटोल के बाद और सर्वोच्च न्यायालय की लताड़ के बाद बुधवार को स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) के चेयरमैन दिनेश कुमार ने सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट फाइल की। एसबीआई ने हलफनामा में बताया है की पार्टियों ने 22,030 लोगों का बॉन्ड कैश कराया है ।
सुप्रीम कोर्ट ने 11 मार्च को फैसला सुनाते हुए एसबीआई से इलेक्टोरल बॉन्ड से जुड़ी पूरी जानकारी देने को कहा था। काफी टालमटोल के बाद एसबीआई ने एससी और ईसीएल को पेन ड्राइव में दो पीडीएफ फाइलें बनाकर दी। हलफनामे के अनुसार ये बात सामने आई है की एसबीआई के हलफनामे के अनुसार एक अप्रैल 2019 से 15 फरवरी 2024 तक 22 हजार 217 इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदे गए। इनमें से 22,030 बॉन्ड का पैसा राजनीतिक पार्टियों ने कैश करा लिया है। पार्टियों ने 15 दिन की वैलिडिटी के भीतर 187 बॉन्ड को कैश नहीं किया, उसकी रकम को प्रधानमंत्री राहत कोष में ट्रांसफर कर दी गई।
एसबीआई चेयरमैन ने कहा- हमने ईसीएल को पेन ड्राइव में दो फाइलें दी हैं। एक फाइल में बॉन्ड खरीदने वालो की डिटेल्स हैं। बॉन्ड खरीदने की तारीख और रकम का जिक्र है। दूसरी फाइल में बॉन्ड इनकैश करने वाले राजनीतिक दलों की जानकारी है। कोर्ट को एसबीआई ने लिफाफाबंद पीडीएफ फाइल और उनके कोड भी दिए हैं। आपको बता दे की एसबीआई ने दो पीडीएफ फाइल दिए हैं। पहला पीडीएफ फाइल और दूसरा पेन ड्राइव है जिसमे सारे डाकोमेंट रखी गई हैं, फाइल को खोलने के लिए एसबीआई ने सुप्रीकोट को पासवर्ड भी दिया है।