रांची, झारखण्ड/ आदिवासी समाज के सभी बुद्धिजीवी और सामाजिक अगुवाजनों से यह अपील की जाती है कि अब समय आ गया है, जब हमें अपनी पहचान और अधिकार के लिए निर्णायक कदम उठाना होगा। जनगणना 2025 के मद्देनजर, आदिवासी समाज के लिए अलग धर्म कॉलम की मांग को लेकर एक सेमिनार का आयोजन 29 दिसंबर 2024 को रांची के पुराने विधानसभा भवन में सुबह 11 बजे किया गया है। इस सेमिनार का उद्देश्य न केवल इस महत्वपूर्ण मांग को राष्ट्रीय स्तर पर उजागर करना है, बल्कि समाज के सभी तबकों को इस आंदोलन के लिए संगठित करना भी है। सेमिनार में आदिवासी समाज के विभिन्न धार्मिक और सामाजिक संगठनों के प्रमुख नेता अपने विचार साझा करेंगे और आगे की रणनीति पर चर्चा करेंगे।
28 फरवरी 2025 को दिल्ली के जंतर मंतर पर होगा महा धरना
राष्ट्रीय आदिवासी समन्वय समिति भारत के नेतृत्व में 28 फरवरी 2025 को दिल्ली के जंतर मंतर पर एकदिवसीय महा धरने का आयोजन किया जाएगा। यह धरना आदिवासी समाज के लिए जनगणना प्रपत्र में अलग धर्म कॉलम की मांग को लेकर किया जा रहा है। देशभर के आदिवासी समाज के बुद्धिजीवी, सामाजिक कार्यकर्ता, और संगठनों के प्रतिनिधियों से अपील है कि वे इस महा धरने में अपनी गरिमामय उपस्थिति दर्ज कराएं और इस ऐतिहासिक आंदोलन को मजबूती प्रदान करें ।
अलग धर्म कॉलम की मांग आदिवासी समाज की सांस्कृतिक और धार्मिक पहचान को सहेजने और संरक्षित करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है। यह आंदोलन आदिवासी समाज के अस्तित्व और स्वाभिमान की लड़ाई का प्रतीक है। समाज के सभी वर्गों और संगठनों से निवेदन है कि वे इस आंदोलन को समर्थन दें और अपनी सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित करें। यह समय हमारे एकजुट होने और अपनी पहचान के अधिकार की रक्षा के लिए कदम उठाने का है।