रायपुर, छत्तीसगढ़/ छत्तीसगढ़ गोंडवाना गोंड महासभा के सौजन्य से तीन दिवसीय स्वरोजगार, रोजगार और शिक्षा पर आधारित प्रेरणादायक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्घाटन आदिम जाति विभाग के सचिव श्री नरेंद्र दुग्गा (आईएएस) ने किया। उन्होंने सरकारी सेवकों से समाज के प्रति जिम्मेदारी निभाते हुए सामाजिक समस्याओं के समाधान की अपील की।कार्यक्रम के प्रथम सत्र में एमजीए ग्लोबल बैंक के संस्थापक और निदेशक श्री इंद्रजीत सोनकर ने उद्योग स्थापना और व्यापार के संबंध में अपने अनुभव साझा किए। दूसरे सत्र में कृषि विभाग के सेवानिवृत्त अपर संचालक श्री एस सी पदम ने कृषि के विभिन्न पहलुओं पर जानकारी दी, जबकि डॉ. एल एस खैरवार ने पशुपालन और बकरी पालन के अवसरों को विस्तार से समझाया।
श्री पी एल सिदार, एसई, सीएसपीडीसीएल, ने अनुसूचित जाति-जनजाति वर्ग के लिए उद्योग स्थापना में सरकारी छूट के बारे में बताया। इसके अलावा, श्रीमती पैंकरा ने दोना-पत्तल निर्माण और मुर्गी पालन की जानकारी दी। श्री तेरन सिंह कोर्रम ने मधुमक्खी पालन और खादी ग्रामोद्योग पर प्रकाश डाला।शिक्षा और रोजगार के क्षेत्र में मार्गदर्शन के लिए श्री एच एस आर्मो, सेवानिवृत्त प्राचार्य, ने युवा वर्ग को प्रेरित किया। श्री तरुण नेताम ने सीमित भूमि में उत्पादकता बढ़ाने और गुजरात के आदिवासियों द्वारा प्रदान की जाने वाली प्रशिक्षण सुविधाओं की जानकारी दी।
कार्यक्रम में यूको बैंक के मैनेजर श्री गुलजार सिंह ठाकुर ने बैंक लोन से संबंधित जानकारी दी। रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए गए। कार्यक्रम के अंतिम दिन मुख्य अतिथि, सेवानिवृत्त मुख्य अभियंता श्री रामजी सिंह ने कृषि और सामाजिक संगठन को बचाने पर जोर दिया। उन्होंने बाबा साहेब अंबेडकर के संवैधानिक अधिकारों को बनाए रखने के लिए एकजुटता का आह्वान किया।
श्री आर पी साहू ने आदिवासी समाज की स्थिति पर चिंता व्यक्त करते हुए मेहनत और आत्मनिर्भरता का संदेश दिया। कार्यक्रम में विभिन्न व्यापारियों ने अपने उत्पादों और सेवाओं की प्रदर्शनी लगाई। इस कार्यक्रम का संचालन श्री तरुण नेताम, प्रदेश महासचिव गोंडवाना गोंड महासभा, ने किया। धन्यवाद ज्ञापन श्री एच एस आर्मो ने व्यक्त किया। यह आयोजन सामाजिक और आर्थिक सशक्तिकरण की दिशा में एक प्रेरणादायक पहल साबित हुआ।